पातेपुर (वैशाली)प्रखंड क्षेत्र के कस्तूरीसराय उत्तर ग्रामीण बैंक में अवैद्य रूप से करोड़ों रुपए पैसा गबन मामले में जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग से मिली मुआवजा। परिवादियों की लगभग 28 लाख रुपए गबन मामले में आयोग ने की न्याय। मानसिक क्षति पूर्ति के साथ व्याज के पैसे भी देने का मिला आदेश। 45दिनों के अंदर नहीं भुगतान करने पर विलंब शुल्क देने का फरमान जारी। लगभग पचास प्रतिशत गरीब लोगों की राशि बैंक खाता में फॉरेंसिक जांच में रुकी । विभिन माध्यमों से खाताधारक बैंक से कर रहे हैं उगाही। मिली जानकारी अनुसार पातेपुर प्रखंड क्षेत्र के उत्तर ग्रामीण बैंक शाखा में 2022में 9.67करोड़ रुपए गबन मामले में खाताधारक को जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग वैशाली से राहत मिली है। खाता धारक राम सेवक साह ने 105/22 एवम राम प्रवेश सिंह परिवाद संख्या 104/22 ने परिवाद दायर किया था। दायर परिवाद में कस्तूरीसराय के शाखा के पूर्व मैनेजर हरीश कुमार एवं शाखा सहायक राजेश प्रसाद पर अपराधिक मुकदमा पातेपुर थाना कांड संख्या 187/2021एवं सिविल न्यायालय में 104/22,105/22मनी सूट दाखिल किया गया था। जिसमें लगभग साढ़े चौदह लाख एवं लगभग साढ़े तेरह लाख लाख रूपये गबन का आरोप लगाया था। आयोग द्वारा मिले आदेश में ग्रामीण बैंक के खातों से अवैध रूप से निकासी किए गए रुपए का भुगतान 20 जुलाई 22 से 06 प्रतिशत वार्षिक ब्याज दर से भुगतान के साथ, मानसिक एवं शारीरिक क्षतिपूर्ति हेतु पचास हजार रुपए और परिवादी वाद खर्च 6 हजार रुपए भुगतान करने का बैंक को आदेश जारी किया गया है। वहीं 45 दिनों के अंदर जमा नहीं करने पर 9 प्रतिशत वार्षिक ब्याज दर से भुगतान करने का फरमान जारी किया है। ज्ञात हो कि प्रखंड क्षेत्र के कस्तूरी सराय में बैंक मैनेजर के द्वारा कड़ोंरों रुपए गबन में अभी तक अभियुक्त की गिरफ्तारी नहीं हुई है। और लगभग पचास प्रतिशत लोगों को ही राशि भुगतान बैंक द्वारा किया गया है। भुगतान उन्हें ही किया गया है। जिन्होंने, मणि सूट, कमीशन, बैंक में तालाबंदी और बैंक कर्मी पर दवाब बनाया उन्हें ही बैंक द्वारा पैसा भुगतान किया गया है।