शिक्षा के क्षेत्र में हमारी भागीदारी के अनुसार शून्य है
शिक्षा के क्षेत्र में हमारी भागीदारी के अनुसार शून्य है
ताजपुर / समस्तीपुर : – – शिक्षा के क्षेत्र में हमारी भागीदारी आबादी के अनुसार शून्य है। जो लोग शिक्षा हासिल करने को अपना लक्ष्य बनाते हैं उसे उन्नति के शीर्ष पर जाने से कोई नहीं रोक सकता है। शिक्षित समाज बनाने के लिए हमें शिक्षा का प्रकाश फैलाना होगा। बिना शिक्षा के उन्नति की कल्पना की ही नहीं जा सकती है। उक्त बातें इमारत ए शरिया के नायब नाजिम मुफ्ती सोहराब नदवी ने ताजपुर हाई स्कूल के मैदान में मुसलमान की वर्तमान स्थिति और हमारा दायित्व शीर्षक से आयोजित कार्यक्रम में कहीं। उन्होंने कहा कि हमें अपनी वर्तमान स्थिति को सुधारने के लिए मुख्यत पांच बातों पर बुनियादी तौर पर कार्य करने होंगे। सर्वप्रथम हमें अपने बच्चों को शिक्षित करना होगा और उन्हें उच्च शिक्षा देने की हर मुमकिन कोशिश करनी होगी आपस में फैले भेदभाव को दूर करना होगा अपना जीवन ईश्वर के आदेश अनुसार बितानी होगी और युवाओं को रोजगार से जोड़ने की कोशिश करनी होगी हमें व्यापार के क्षेत्र को अधिक से अधिक अपना ना होगा। व्यापार करना हमारे नबी की सुन्नत है और इसमें 99 बरकते पाई जाती है। उक्त बातों को अपने जीवन में लागू करके हम बहुत हद तक अपने वर्तमान हालात पर काबू पा सकते हैं। उच्च न्यायालय पटना के सीनियर अधिवक्ता खुर्शीद आलम ने इस अवसर पर कहा कि हम हम मुसलमान की समस्या अपनी समस्या नहीं है बल्कि यह देश की समस्या है हमें अपनी समस्या को देश की समस्या के रूप में देखना होगा देश के वंचित वर्गों के साथ संबंध बनाना होगा दलित महा दलित पिछड़ा वर्ग के दुख सुख में साथ खड़ा रहना होगा उनकी समस्याओं के साथ हमें कंधे से कंधा मिलाकर आवाज उठानी होगी संविधान ने हमें जो अधिकार दिया है उन्हें हमें समझना होगा इस प्रकार से ही हम अपनी वर्तमान स्थिति को सुधार सकते हैं। मौलाना मोतिउर रहमान चतुर्वेदी, मौलाना कासिम सल्फी ने भी मुसलमान की वर्तमान स्थिति पर अपने विचार रखे और समाधान बताया। कार्यक्रम की अध्यक्षता हाई स्कूल ताजपुर के पूर्व प्रधानाध्यापक मौलाना कासिम सल्फी और संचालन डॉक्टर बिस्मिल आरिफ़ी ने किया। कार्यक्रम के आयोजक जियाउर रहमान हीरा के धन्यवाद ज्ञापन के बाद कार्यक्रम समाप्त हुआ। इस अवसर पर सरफराज फाजिलपुरी ,जाकी अख्तर, अबू हैदर, डॉक्टर अफजल, अफरोज अहमद, तबरेज आलम रहीमाबादी , ताहिरुद्दीन ताहिर, कारी अतहर इकबाल, इत्यादि मौजूद थे ।