जिंदगी की बेवक्त आने वाली शाम का मुख्य कारण है नशा: सिविल सर्जन
1 min readजिंदगी की बेवक्त आने वाली शाम का मुख्य कारण है नशा: सिविल सर्जन
रिपोर्ट नसीम रब्बानी
सदर अस्पताल में मनाया गया विश्व तंबाकू निषेध दिवस
•बैनर पोस्टर के माध्यम से किया गया जागरूक
•सभी सरकारी और गैर सरकारी कार्यालयों को किया जा चुका है तंबाकू मुक्त
• इधर-उधर थूकने पर जुर्माने का है प्रावधान
मुजफ्फरपुर/31मई।
विश्व तंबाकू निषेध दिवस के अवसर पर सदर अस्पताल के सभागार में कार्यक्रम आयोजित कर मरीजों को तथा उनके परिजनों को तंबाकू के सेवन से होने वाले खतरनाक बीमारियों के बारे में जानकारी दी गई तथा इसका सेवन करने से परहेज करने की बातें बताई गई। एवं विश्व तंबाकू निषेध दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में शामिल सभी लोगों ने यह शपथ लिया कि जीवन में हम कभी भी किसी भी प्रकार के तंबाकू उत्पादों का सेवन नहीं करेंगे एवं अपने परिजनों परिचितों को भी तंबाकू उत्पादों एवं किसी भी नशे का सेवन नहीं करने के लिए प्रेरित करेंगे। साथ ही सदर अस्पताल के ओपीडी, इमरजेंसी, डीएचएस तथा अन्य कार्यालयों के बाहर बैनर पोस्टर लगाकर तंबाकू के सेवन से परहेज करने के लिए लोगों को जागरूक किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत सिविल सर्जन डॉ सुरेंद्र कुमार चौधरी ने की। इस मौके पर सिविल सर्जन ने कहा कि नशा भले ही शान और लत के लिए किया जाता हो, पर यह जिंदगी की बेवक्त आने वाली शाम का भी मुख्य कारण है। लोग भले ही इसका मजा दिन भर के कुछ समय के लिए लेते हैं, लेकिन यह मजा कब लोगों लिए जिंदगी भर की सजा बन जाए, अंदाजा भी नहीं लगा सकते सार्वजनिक स्थानों पर धूम्रपान पर पाबंदी है। विश्व तम्बाकू निषेध दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में शामिल सभी लोगों ने यह शपथ लिया कि जीवन में हम कभी भी किसी भी प्रकार के तम्बाकू उत्पादों का सेवन नहीं करेंगे एवं अपने परिजनों, परिचितों को भी तम्बाकू उत्पादों एवं किसी भी नशे का सेवन नहीं करने के लिए प्रेरित करेंगे।
तंबाकू का सेवन से शरीर के लिए खतरनाक:
गैर संचारी रोग पदाधिकारी डॉक्टर शिवशंकर ने बताया तंबाकू सिर्फ सेवन करने वालों के लिए ही नहीं, बल्कि उनलोगों के लिए भी खतरनाक हैं जो तंबाकू सेवन करने वालों के आसपास रहते हैं। कहा कि तंबाकू से न सिर्फ एक आदमी का स्वास्थ्य बिगड़ता है बल्कि पूरे परिवार के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ता है।
लोगों को जागरूक करना जरूरी:
सिविल सर्जन डॉ सुरेंद्र कुमार चौधरी ने कहा कि लोगों को तंबाकू मुक्त और स्वस्थ बनाने के लिये तथा सभी स्वास्थ्य खतरों से बचाने के लिए तंबाकू चबाने या धुम्रपान के द्वारा होने वाले सभी परेशानियों और स्वास्थ्य जटिलताओं से लोगों को आसानी से जागरूक बनाने के लिए पूरे विश्व भर में विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा विश्व तंबाकू निषेध दिवस को आरंभ किया गया। तंबाकू के बारे में लोगों को जागरूक करने की जरूरत है।
तंबाकू मुक्त घोषित किया जा चुका है सरकारी और गैर सरकारी कार्यालय:
जिले के सभी सरकारी व गैर सरकारी कार्यालय एवं परिसर को तंबाकू मुक्त घोषित कर दिया गया है। पिछले साल ही कोरोना वायरस के बढ़ते प्रभाव को देखते हुए जिला पदाधिकारी के द्वारा आदेश जारी किया गया था जिसमें निर्देशित किया गया कि कोई भी व्यक्ति सार्वजनिक स्थानों पर तंबाकू एवं तम्बाकू उत्पादों अथवा कोई अन्य पदार्थों का सेवन कर के यत्र-तत्र थूकने पर छह माह का कैद अथवा 200 रुपये जुर्माने का निर्देश दिया गया है।
इधर-उधर थूकने पर लगेगा जुर्माना:
जिले में तंबाकू का सेवन कर के यत्र तत्र थूकने पर जुर्माने का प्रावधान किया गया है। साथ ही 6 माह की जेल भी हो सकती है । इधर-उधर थूकने से कोरोना वायरस के फैलने का खतरा ज्यादा है। किसी भी सरकारी या गैर सरकारी कार्यालय एवं परिसर में किसी भी प्रकार का तंबाकू पदार्थ, सिगरेट, खैनी, गुटखा, पान मसाला, जर्दा आदि के उपयोग को पूर्णत: प्रतिबंधित है।
सार्वजनिक स्थानों पर थूकना स्वास्थ्य के लिए खतरा:
सीड्स के कार्यक्रम पदाधिकारी मनोज कुमार झा ने बताया कि तंबाकू का सेवन जन स्वास्थ्य के लिए बड़े खतरों में से एक है। सार्वजनिक स्थानों पर थूकना स्वास्थ्य के लिए खतरा है और संचारी रोग के फैलने का एक प्रमुख कारण है। तंबाकू सेवन करने वाले की प्रवृति यत्र-तत्र थूकने की होती है। थूकने के कारण कई गंभीर बीमारी तथा कोरोना, इंसेफलाइटिस, यक्ष्मा, स्वाइन फ्लू आदि का संक्रमण फैलने की आशंका रहती है। भा.द.वि. (IPC) की धारा 268 एवं 269* के तहत कोई भी व्यक्ति यदि महामारी के अवसर पर उपेक्षापूर्ण अथवा विधि विरूद्ध कार्य करेगा जिससे जीवन के लिए संकटपूर्ण रोग का संक्रमण हो सकता है तो उसे छह माह का कारावास एवं अथवा 200 रुपये जुर्माना किया जा सकता है।
मौके पर सदर अस्पताल के एनसीडी सेल लाजिस्टिक सलाहकार प्रिंस कुमार, पंकज कुमार समेत अन्य स्वास्थ्य कर्मी मौजूद थे।